राष्ट्रीय किसान दिवस निबंध, महत्व, भाषण एवं कविता (National Farmers Day or Kisan Diwas 2024 significance, history, speech, Poem in hindi)
भारत का अधिकांश आय स्त्रोत कृषि हैं और कृषि का अभिन्न अंग हैं किसान. किसानएक ऐसा मजदूर हैं जो मेहनत करके भी दुखी हैं मजबूर हैं. आज भारत में सबसे दयनीय हालत किसान की हैं. देश की आजादी के बाद से हर स्थिती में सुधार आया, लेकिन किसान के स्तर में कोई सुधार नहीं. किसान देश की नींव हैं जब इस नींव पर संकट आता है, तो देश की आधार शिला हिल जाती हैं. आज सबसे ज्यादा जरुरत हैं कि कैसे किसान एवम किसानी के स्तर को उपर उठाया जाये ? कैसे देश को इस दिशा में आत्म निर्भर बनाया जाये ?
कृषि कार्य मानव जाति का सबसे पुराना और आवश्यक उद्योग हैं, आज भी चावल, गेंहू, बादाम या कोई भी फल का उत्पादन मानव जीवन के लिए महत्वपूर्ण हैं, जिससे ना केवल उत्पादन करने वाले मतलब कृषको को बल्कि पूरे समाज को फायदा मिलता हैं. भारत में सदियों से कृषि कार्य की प्रधानता रही हैं. इसलिए यहाँ पर किसानों के हितों का ध्यान रखना बहुत ही जरुरी हो जाता हैं. आज भी देश में आधे से अधिक जनसंख्या कृषि पर निर्भर हैं, और भारत में कृषि ने विकास के कई आयामों को देखा हैं. 60 के दशक में हरित क्रान्ति ने पंजाब और हरियाणा के साथ पूरे देश में कृषि का परिदृश्य बदल दिया था. इससे ना केवल देश का आर्थिक विकास हुआ, बल्कि किसानों की आवश्यकता को सरकार से लेकर आम-जन तक प्रत्येक वर्ग ने समझा. इसी क्रम में कृषकों के सम्मान और अधिकारों की रक्षा के लिए किसान दिवस मनाने की भी शुरुआत हुई.
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राष्ट्रीय किसान दिवस का इतिहास ( History of National Farmers Day)
इस दिन का आयोजन देश के पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के सम्मान में किया जाता हैं. वो देश के पाँचवे प्रधानमंत्री थे. हालांकि उन्होंने केवल 28 जुलाई 1979 से लेकर 14 जनवरी 1980 तक ये पदभार सम्भाला था, लेकिन इस दौरान ही उन्होंने किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए बहुत सी नीतियाँ बनाई थी. चौधरी चरण सिंह की बहुत सी नीतियाँ ना केवल किसानों के हितों की रक्षा करती थी बल्कि उन्हें एकजुट करके जमीदारों से लड़ने को प्रेरित भी करती थी. उन्होंने “जय जवान-जय किसान” का वास्तविक रूप में अनुसरण किया था. वो लेखक थे और उन्होंने अपने लेखन के हुनर का उपयोग किसानों की समस्याओं और उनके समाधान की किताबों को लिखने में उपयोग किया था. और इस तरह उन्होंने कृषकों के जीवन स्तर को सुधारने के बहुत प्रयास किये थे. देश के आम किसानों के बीच सदा लोकप्रिय रहे इस नेता की जयंती को ही किसान दिवस के रूप में मनाना निर्धारित किया गया हैं. ये बात हर कोई जानता हैं कि किसान ही देश का मेरुदंड हैं इसलिए इनके हितों की रक्षा करना बेहद आवश्यक हैं. इस तरह किसान पृष्ठभूमि के चरण सिंह के सम्मान में मनाया जाने वाला ये दिन भारतीयों के मन में किसानों के लिए सम्मान को बढाता है.
1 | किसान दिवस तिथी | 23 दिसम्बर |
2 | इस दिन का चुनाव क्यूँ किया गया ? | चौधरी चरण सिंह का जन्म दिवस |
3 | कब की गई किसान दिवस की स्थापना | वर्ष 2001 |
4 | कैसे मनाया जाता हैं |
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यह क्यों मनाया जाता हैं? (why it celebrate)
हर साल भारत के सभी राज्यों में राष्ट्रीय किसान दिवस का आयोजन किया जाता हैं, उनमें भी वो राज्य जहां सबसे ज्यादा कृषि होती हैं, वहाँ ये दिवस कोई उत्सव से कम नही होता हैं जैसे उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश और कुछ अन्य राज्यों में इस दिवस को लेकर बहुत उत्साह देखा जाता हैं. किसान समुदाय और ग्रामीण वर्ग के कई सदस्य मिलकर कृषि आधारित कार्यक्रम का आयोजन करते हैं. कई वाद-विवाद प्रतियोगिता, क्विज जैसे कार्यक्रमों से कृषि कार्य संबंधित जागरूकता लाने की कोशिश की जाती हैं. इस दौरान किसानों से संबंधित कई मुदों पर चर्चा की जाती हैं, किसानो के प्रतिनिधि अपनी समस्याओं और मुद्दों को अभिव्यक्त कर पाते हैं, इस दिन किसानों के विकास के लिए काम करने वालों को भी विशेष रूप से सम्मानित किया जाता हैं.
किसान दिवस उद्देश्य (Objectives of Farmers Day)
किसानों के बिना जिन्दगी और दुनिया का अस्तित्व सोचा भी नही जा सकता हैं,ये बहुत ही खुश नसीबी की बात हैं कि हमारे समाज का एक वर्ग ऐसा हैं जो हमारे भरण-पोषण का काम देखता हैं और इसके बदले में यदि हम उनके अधिकारों की रक्षा कर पाए, उनका जीवन स्तर ऊपर उठा सके, तो इससे बेहतर और कुछ नहीं हो सकता. इसलिए भी किसान दिवस मनाना जरूरी हैं. जिससे कि हम तक फल,सब्जियां और धान जैसी मूलभूत वस्तुएं पहुँचाने वाले वर्ग को समाज की मुख्य धारा से जोड़ा जा सके. वास्तव में कृषि के लिए आवश्यक इन्वेस्टमेंट, उपकरण और अन्य आवश्यक वस्तुएं उपलब्ध करवाने के लिए किसान वर्ग का शिक्षित होना भी जरूरी हैं. सरकार किसानों के लिये समय-समय पर कई तरह की योजनाएं बनाती रहती हैं और उनको लाभ देने के लिये बहुत से कृषि कार्यक्रम भी आयोजित करती हैं. लेकिन इतना कुछ होने के बाद भी कई बार किसानों तक आवश्यक जानकारी नहीं पहुँच पाती है, इसलिए किसी एक दिन पर किसानों को उनके सम्मान के साथ उनके हितों की जानकारी देना ही किसान दिवस को मनाने का मुख्य उद्देश्य हैं.
राष्ट्रीय किसान दिवस कैसे मनाए? ( How to celebrate National Farmers Day)
इस दिन को मनाने के लिए कोई विशेष खर्चा करने या आयोजन में सम्मिलित होने की आवश्यकता नहीं है, इसके लिए आप व्यक्तिगत स्तर से लेकर अपने संस्थागत स्तर तक विभिन्न तरीकों से किसान दिवस मना सकते हैं
आप चाहे तो किसान बाज़ार जाकर खरीददारी कर सकते हैं, इसके लिए आपको बस ये ध्यान में रखना हैं कि आप जो भी खरीद रहे हैं, उसका उद्देश्य किसानो की आवश्यकता को पूरा करना हैं. आप उनके सपनों को सच करने में सहयोग कर रहे हैं, और इसी माध्यम से सीधे किसान से खरीदकर कुछ आवश्यक वस्तुएं अपने घर ला रहे हो, जो कि ताज़ी एवं सस्ती हैं, क्योंकि आपने बीच के सभी विक्रेताओं को नजरअंदाज किया हैं.
आप अपने परिवार और बच्चों को लेकर किसानों के बीच जाकर भी एक दिन बीता सकते हैं,और यदि आप सक्षम हैं और आपको उनकी कोई समस्या समझ आती हैं, तो उसके समाधान में भी मदद कर सकते हैं.
किसान वर्ग देश के विकास में योगदान देने वाला सबसे आवश्यक वर्ग हैं, इसलिए इन्हें सम्मान देना और इनके लिए एक दिवस मनाना ना केवल राजनीतिक उद्देश्यों की पूर्ति करता हैं बल्कि यह आयोजन कृषकों को सामाजिक रूप से भी सशक्त बनाता हैं.
- किसान दिवस के दिन उन नेताओं को सम्मानित किया जाता हैं जिन्होंने देश के किसान के विकास के लिए उचित कार्य किये हो.
- इस दिन कृषि संबंधी कई वर्कशॉप, सेमिनार का आयोजन किया जाता हैं जिसके जरिये किसानो को आधुनिक कृषि एवम आने वाली आपदाओ से कैसे राहत मिले इस तरह की जानकारी विस्तार से दी जाती हैं.
- किसान दिवस के दिन कृषि वैज्ञानिक किसानों से बातचीत करते हैं उनकी समस्या को सुन उसका हल देते हैं.
- इस दिन किसानो को एक बेहतर और आधुनिक कृषि का ज्ञान दिया जाता हैं साथ ही उन्हें इस ओर प्रेरित किया जाता हैं.
- किसान दिवस के दिन किसानो को उनके हक़ और उन्हें दी जाने वाली सुविधाओं के बारे में भी विस्तार से बताया जाता हैं.
- इस प्रकार हर एक प्रान्त में अलग – अलग तरह से किसान दिवस का आयोजन किया जाता हैं.
साल 2024 में राष्ट्रीय किसान दिवस कब है (National Farmers Day 2024 Date)
हर साल की तरह इस साल 2024 में भी राष्ट्रीय किसान दिवस 23 दिसम्बर को मनाया जायेगा.
2024 के इवेंट्स (2024 events)
उत्तर प्रदेश की सरकार ने प्रति वर्ष की भांति इस वर्ष भी इस दिवस को मनाने की एक विशेष रूपरेखा तैयार की हैं,और 23 दिसम्बर को अवकाश घोषित किया हैं. इस दिन किसानों के हितों की आवाज़ उठाने वाले सभी नेताओं को सम्मानित किया जाएगा, ग्रामीण क्षेत्रों के विकास और कृषि के लिए बहुत से कार्यक्रम जैसे सेमिनार, प्रदर्शनी और वर्कशॉप आयोजित किये जायेंगे. कृषि सम्बंधित अधिकारी और वैज्ञानिक किसानो से संवाद करेंगे, जिसमें कृषि आधारित योजनाओं और नई-नई जानकारियाँ किसानों को समझाई जाएगी और उनकी समस्याओं का निराकरण करने के उपाय भी बताए जाएंगे.
किसान दिवस पर कविता (National Farmers Day Poem)
जिनके अनाज के भंडार हैं
पर खाने को दाना नहीं
जिनके आँगन में दुग्ध बहे
पर उसने कभी चखा नहीं
मेहतन ही उसकी ताकत हैं
फिर भी वो आज भिखारी हैं
अनाज का हैं वो दाता
फिर भी सोता भूखा हैं
वह मेहनत की ही खाता हैं
पर पृकृति का गुलाम हैं
आस लगाये वो आसमान निहारे
लेकिन भाग्य में उसके शाम हैं
साहूकार ने रही सही
सांसे भी उससे छीन ली
सियासी और कालाबजारी ने
उसकी जिन्दगी दूभर करी
फिर भी वो उठता हैं
मेहनत करते जाता हैं
एक दिन आएगा फिर से
जब किसान ही लहरायेगा
कब तक रूठेगी तू पृथ्वी
तुझे वो मेहनत से ही मनायेगा
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FAQ
Ans : 23 दिसंबर को
Ans : एग्रीकल्चर डे
Ans : हर साल 23 दिसंबर को देश के पांचवें प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की जयंती के अवसर पर राष्ट्रीय किसान दिवस मनाया जाता है.
Ans : यह किसानों को सम्मानित करने के लिए मनाया जाता है.
Ans : साल 2001 में
सरकार द्वारा किसानो के लिये चलाइ जा रही योजनाये